ऑस्ट्रेलिया के एडीलेड में क्रिकेट खेलते समय पाकिस्तानी मूल के क्रिकेटर जुनैद जफर खान की दुखद मौत ने खेल जगत को झकझोर कर रख दिया है। क्लब-स्तरीय क्रिकेट में यह घटना उस समय हुई जब दक्षिण ऑस्ट्रेलिया भीषण गर्मी की चपेट में था। जुनैद, जो 2013 में पाकिस्तान से ऑस्ट्रेलिया आए थे, एक अनुभवी क्रिकेटर और तकनीकी क्षेत्र में कार्यरत पेशेवर थे। यह घटना खिलाड़ियों की सुरक्षा और चरम मौसम परिस्थितियों में खेल जारी रखने के नियमों पर गंभीर सवाल उठाती है।
घटना का पूरा विवरण
एडीलेड के कॉनकॉर्डिया कॉलेज मैदान में ओल्ड कॉनकॉर्डियंस बनाम प्रिंस अल्फ्रेड ओल्ड कॉलेजियंस के बीच चल रहे मैच में जुनैद खान ने 40 ओवर तक फील्डिंग की और फिर बल्लेबाजी के लिए मैदान पर आए। 16 रन बनाने के बाद वह अचानक मैदान पर गिर पड़े। उस समय तापमान 41.7 डिग्री सेल्सियस था।
घटना के तुरंत बाद मेडिकल टीम बुलाई गई, लेकिन तमाम प्रयासों के बावजूद उन्हें बचाया नहीं जा सका। क्लब की ओर से जारी बयान में गहरी संवेदना व्यक्त की गई:
“हम अपने एक सम्मानित खिलाड़ी के असमय निधन से बेहद दुखी हैं। मैदान पर हुए इस मेडिकल इमरजेंसी के बाद उन्हें बचाने की हर संभव कोशिश की गई, लेकिन अफसोस, हम असफल रहे।”
And…’suddenly’😪💔
*Junaid Zafar Khan-40s-Australia
*Cricketer playing…
*March 15, 2025
*Tragically, Junaid collapsed and died suddenly on the field during the game at Concordia College Oval.
*All reports repeatedly mention: “during a cricket match that was played in 41.7C… pic.twitter.com/oUjDsGIPOW— cheri maday (@resilient333) March 17, 2025
जुनैद खान का करियर और जीवन
जुनैद खान ने 2013 में पाकिस्तान से ऑस्ट्रेलिया का रुख किया था। क्रिकेट के प्रति उनका जुनून उन्हें क्लब स्तर तक ले आया। उन्होंने तकनीकी क्षेत्र में भी अपनी पहचान बनाई और ऑस्ट्रेलिया में कार्यरत थे। उनके करीबी दोस्त हसन अंजुम ने उन्हें याद करते हुए कहा:
“यह एक बड़ी क्षति है। जुनैद जीवन में बहुत आगे जाने वाले थे।”
गर्मी और क्रिकेट – एक खतरनाक संयोजन?
ऑस्ट्रेलिया में क्रिकेट और भीषण गर्मी का रिश्ता नया नहीं है। एडीलेड टर्फ क्रिकेट एसोसिएशन (ATCA) के नियमों के अनुसार 42°C से अधिक तापमान होने पर मैच रद्द किया जाना चाहिए, लेकिन 40°C तक के तापमान में कुछ विशेष नियमों के तहत खेल जारी रखा जा सकता है। जुनैद की मौत के बाद इन नियमों की समीक्षा की माँग उठ रही है।
विशेषज्ञों के अनुसार, “खिलाड़ियों के शरीर का तापमान बहुत जल्दी बढ़ सकता है, जिससे हीटस्ट्रोक का खतरा बढ़ जाता है।”
रमज़ान, उपवास और खिलाड़ियों की सहनशक्ति
जुनैद खान रमज़ान के दौरान उपवास कर रहे थे, लेकिन उन्होंने पानी पीकर खुद को हाइड्रेट रखा था। इस्लामिक शिक्षाओं के अनुसार, अगर कोई व्यक्ति बीमार महसूस कर रहा हो तो वह उपवास तोड़ सकता है। हालांकि, 41.7°C जैसी गर्मी में खेलना बेहद मुश्किल होता है।
क्रिकेट कम्युनिटी की प्रतिक्रिया और श्रद्धांजलि
क्रिकेट जगत इस घटना से स्तब्ध है। कई खिलाड़ियों और विशेषज्ञों ने इस पर दुख जताया है। क्लब के साथियों और क्रिकेट प्रशंसकों ने जुनैद को याद करते हुए उन्हें श्रद्धांजलि दी।
निष्कर्ष
जुनैद खान की दुखद मौत ने यह साबित कर दिया है कि चरम मौसम में खेलों को लेकर अधिक सतर्कता की आवश्यकता है। क्रिकेट संगठनों को खिलाड़ियों की सुरक्षा के लिए सख्त कदम उठाने होंगे। क्या क्रिकेट एसोसिएशन को तापमान सीमा को और सख्त बनाना चाहिए? अपनी राय हमें कमेंट में बताएं।